माकपा की अगुवाई वाली एलडीएफ सरकार द्वारा सबरीमाला प्रदर्शनकारियों के खिलाफ कार्रवाई किए जाने को लेकर बीजेपी कार्यकर्ताओं ने यहां केरल डीजीपी कार्यालय के सामने मंगलवार को दिन भर का उपवास शुरू कर अपना आंदोलन तेज कर दिया। बीजेपी कार्यकर्ताओं ने सरकार द्वारा प्रदर्शनकारियों की गिरफ्तारी के विरोध में सभी जिला मुख्यालयों में पुलिस अधीक्षकों के कार्यालयों के बाहर मार्च भी निकाला।
पार्टी कार्यकर्ताओं को संबोधित करते हुए बीजेपी राज्य अध्यक्ष पी एस श्रीधरन पिल्लई ने आरोप लगाया कि सत्तारूढ़ माकपा दिवालियेपन के कगार पर है और पार्टी का ग्राफ नीचे जा रहा है। पूर्व केन्द्रीय मंत्री और राज्य विधानसभा में पार्टी के एकमात्र विधायक ओ राजगोपाल भी कार्यक्रम में मौजूद थे।
प्रदर्शनकारियों में जाने माने मार्क्सवादी नेता एम एम लॉरेंस का पोता भी शामिल था। सुप्रीम कोर्ट के सबरीमला स्थित भगवान अय्यपा मंदिर में सभी आयु वर्ग की महिलाओं को प्रवेश की अनुमति दिए जाने का फैसले को सरकार द्वारा लागू किए जाने के खिलाफ हो रहे विरोध और प्रदर्शनों के सिलसिले में अब तक 3,500 से अधिक लोगों को गिरफ्तार किया जा चुका है और 529 मामले दर्ज किये गये हैं।
27 अक्टूबर को केरल के दौरे पर गए बीजेपी के राष्ट्रीय अध्यक्ष अमित शाह ने मंदिर में सभी आयु वर्ग की महिलाओं को प्रवेश देने का विरोध कर रहे श्रद्धालुओं का पूरा समर्थन किया था। बीजेपी ने घोषणा की थी कि वह सबरीमाला मंदिर की परंपराओं और रीति रिवाज की रक्षा के लिए आठ से 13 नवंबर तक कासरगोड से पथनामथित्ता तक रथयात्रा निकालेगी।
पथनामथित्ता में ही सबरीमला मंदिर स्थित है। गत 17 से 22 अक्टूबर तक विशेष अनुष्ठानों के लिए मंदिर खुलने पर जब 10 वर्ष से 50 वर्ष आयुवर्ग की करीब एक दर्जन महिलाओं को प्रदर्शनकारी श्रद्धालुओं द्वारा मंदिर में प्रवेश से रोका गया तो मंदिर में काफी हंगामा हुआ था। मंदिर आगामी पांच नवंबर को एक दिन के विशेष अनुष्ठान के लिए फिर खुलने वाला है।
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